राधा मोहन 27 जुलाई 2023 लिखित एपिसोड अपडेट: गुनगुन राधा से डरती है

कावेरी और दामिनी को एक-दूसरे के साथ प्लान बनाने का शौक था। वे हमेशा नए-नए तरीकों से लोगों को धोखा देने में निपुण थीं। इस बार भी, उन्होंने एक नया प्लान बनाया था और विश्वास था कि इस बार उनका प्लान सफल होगा। वे अपने प्लान को पूरा करने के लिए तैयार थीं और इस बार उन्हें तुलसी नामक एक और लड़की भी साथ मिली थी। उन्होंने तुलसी को अपने प्लान के बारे में बताया और उससे मदद मांगी। तुलसी भी बहुत चालाक थी और विश्वास करती थी कि इस बार कावेरी और दामिनी का प्लान सफल होगा। इसलिए, उसने भी उनकी मदद करने का फैसला किया।

इस बीच, केतकी ने अपने बटवे तैयार कर लिए थे। वह चाहती थी कि कावेरी और दामिनी जल्द से जल्द उस घर से चले जाएँ और वह अकेले होकर खुशियाँ मनाएँ। वह नहीं चाहती थी कि उनकी जिंदगी में दोबारा कावेरी और दामिनी आएं और उसकी खुशियाँ चुरा लें। इसलिए, उसने कावेरी और दामिनी से भी सतर्क रहने की विचार किया और उन्हें चेतावनी दी कि वे अपने बटवे तैयार करें और जल्दी से जल्दी उस घर से चले जाएँ।

कावेरी और दामिनी खुश थीं क्योंकि उन्हें अपना प्लान पूरा करने में तुलसी की मदद मिल रही थी। उन्होंने तुलसी को धन्यवाद दिया और उसको विश्वास दिलाया कि वे जल्दी ही उस घर से चलेंगी।

कावेरी और दामिनी को लगा कि अब उनके प्लान का समय आ गया है। वे उत्साहित थीं और उन्होंने तुलसी की मदद से अपना प्लान बनाना शुरू किया। वे तुलसी के साथ मिलकर रहस्यमय तरीके से प्लान बना रही थीं जिसे कोई भी नहीं समझ पा रहा था। वे बहुत समय तक मिलकर प्लान बना रही थीं और आनंद ले रही थीं।

कावेरी और दामिनी के प्लान के बारे में केतकी को पता चल गया था। वह अब और भी चिंतित हो गई थी। उसने सोचा कि वह उन्हें रोक सकती है और उनका प्लान बिगाड़ सकती है। वह चाहती थी कि कावेरी और दामिनी जल्दी से जल्दी उस घर से चले जाएँ और उसकी खुशियाँ चुरा लें।

तभी एक दिन, कावेरी और दामिनी अपने प्लान को अंजाम देने की तैयारी में लगी हुई थीं। तभी केतकी उनके पीछे से आ गई और उन्हें देख लिया। वह उनसे बहुत नाराज हो रही थी। कावेरी और दामिनी चकरा गईं और उन्हें समझ नहीं आ रहा था कि क्या करें।

केतकी ने उनसे पूछा कि उन्होंने किस बारे में सोच रही हैं और उन्होंने कोई नई योजना बनाई है क्या। कावेरी और दामिनी चुप रह गईं। केतकी ने उन्हें चेतावनी दी कि वे उनके प्लान को बिगाड़ने की कोशिश न करें और जल्दी से जल्दी उस घर से चले जाएँ।

कावेरी और दामिनी चिंतित थीं क्योंकि उन्हें केतकी के आगमन का अंदाजा नहीं था। वे नहीं चाहती थीं कि केतकी उनके प्लान को बिगाड़ दे और उन्हें उस घर से निकाल दे। उन्होंने सोचा कि केतकी उन्हें रोक नहीं सकती और उनका प्लान सफल होगा।

तभी एक दिन, कावेरी और दामिनी को एक नई सूचना मिली। उस सूचना के आने से उनकी खुशियाँ चुराने का प्लान बिगड़ गया। वह बहुत चिंतित हो गईं और उन्हें यह लगने लगा कि उन्हें उस घर से जल्दी से जल्दी चले जाना चाहिए।

राधा और मोहन एक दूसरे के साथ घूम रहे थे। राधा ने मोहन के बाल पकड़ लिए और उसे खिंचा। मोहन बोले, “तुम इतने अचानक से कहाँ से आ गई?” राधा मुस्कराई और बोली, “मुझे तुम्हारी याद आ गई थी।” मोहन ने पूछा, “कैसे?” राधा ने कहा, “मैं सोच रही थी कि आज हमारा प्यार का दिन है, तो मैंने सोचा कि मुझे तुम्हें एक सरप्राइज दूं।” मोहन मुस्कराए और बोले, “वाकई? कौन सा सरप्राइज है?” राधा ने उसे चुप कर दिया और कहा, “अभी देखोगे तो पता चल जाएगा।” मोहन ने कहा, “ठीक है, तुम जाओ, मैं बाहर इंतजार करूँगा।” राधा मुस्कराई और बोली, “ठीक है, तुम इंतजार करो।”

राधा ने मोहन को एक बार फिर देखा और फिर जल्दी से दौड़कर गुंगुन की ओर बढ़ी। वह देखती है कि गुंगुन एक कोने में खड़ी है और बहुत चिंतित है। राधा ने पूछा, “क्या हुआ गुंगुन? तुम इतनी चिंतित क्यों हो?” गुंगुन ने राधा को देखा और बोली, “मम्मी, मैं पापा को लेकर बहुत चिंतित हूँ।” राधा ने कहा, “पापा को लेकर क्यों?” गुंगुन ने कहा, “अगर छोटी सी बात के लिए मम्मी के साथ ये हाल है तो मैं सोचती हूँ अगर मैं बड़ी हो गई और पापा को उसी तरह छेड़ूंगी जैसे कि राधा मम्मी को छेड़ती है, तो क्या होगा?” राधा के चेहरे पर चिंता का भाव आया और वह गुंगुन को गले लगाकर बोली, “तुम ऐसा नहीं करोगी। मैं वादा करती हूँ कि मैं तुम्हें हमेशा समझाऊँगी और तुम्हारे पापा को छेड़ने से रोकूँगी।” गुंगुन ने राधा को देखा और उसका भरोसा हुआ। वह राधा की आंखों में देखकर बोली, “आप मुझे कभी धोखा नहीं देंगी, ना?” राधा ने गुंगुन को हल्के से मुस्करा दिया और बोली, “कभी नहीं। मैं तुम्हारी हमेशा सहायक बनी रहूंगी।”

फिर राधा और मोहन अपने प्लान को अंजाम देने में लगे। वे बहुत खुश थे क्योंकि उन्हें अपने बच्चे के साथ वक़्त बिताने का मौका मिल रहा था। वे गुंगुन के साथ खेलते, उसे प्यार करते और उसकी खुशियाँ देखने के लिए उत्साहित थे। गुंगुन भी खुश थी क्योंकि उसके पापा और मम्मी उसके साथ समय बिता रहे थे। वह अपने पापा के साथ मस्ती करती और खुशी से गाने गाती थी। राधा और मोहन के बीच की दोस्ती को देखकर गुंगुन को भी खुशी मिली और उसका मन शांत हो गया।

तभी अचानक, एक दिन, राधा को अपने प्लान के बारे में एक नई सूचना मिली। उस सूचना के आने से उसका मन उदास हो गया। उसके प्लान का सफलता होने की संभावना कम हो गई थी। वह चाहती थी कि उसका प्लान सफल हो जाए और उसका सपना पूरा हो जाए। लेकिन उस सूचना के आने से उसकी उम्मीदें टूट गईं। वह बहुत चिंतित हो गईं और उसको लगता था कि कुछ और भी हो सकता है।

तभी, राधा को एक राही मिला। वह राही राधा को देखता ही खुश हो गया और उससे बात करने लगा। राधा ने भी उससे बात की और उसकी मदद करने की बात कही। राही ने राधा की मदद की और उसको उसके प्लान को सफलता दिलाने में मदद की। राधा को खुशी मिली और उसका विश्वास बढ़ गया। वह जानती थी कि अब उसका प्लान सफल होगा और उसका सपना पूरा होगा।

इस तरह, राधा और मोहन के प्लान को राही की मदद से सफलता मिली। वह अपने सपने को पूरा करके खुश रहे और उसकी जिंदगी में खुशियाँ भर गईं। उसका सपना एक नई शुरुआत की ओर बढ़ गया और उसने अपने जीवन को खुले हुए हृदय के साथ जीना शुरू किया। उसने अपने प्लान को सफलता की ऊँचाइयों तक ले जाया और अपने दोस्तों और परिवार के साथ हमेशा खुश रहने का वादा किया।|

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